जन संगठनों के आह्वान पर सत्याग्रह

 जन संगठनों के आह्वान पर सत्याग्रह

डूंगरपुर (लालशंकर रोत)।
जन संगठनों के संयुक्त संघर्ष के आह्वान पर जिला मुख्यालय डूंगरपुर पर 9 अगस्त 2020 को भारत बचाओ रैली निकालकर सत्याग्रह आयोजित किया गया।
रैली में अखिल भारतीय किसान सभा भारत की जनवादी नौजवान सभा, भारतीय ट्रेड यूनियन केंद्र, आदिवासी जनाधिकार एका मंच राजस्थान, स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया, राजस्थान शिक्षक संघ शेखावत से जुड़े कार्यकर्ताओं ने नेहरू पार्क पर एकत्रित होकर जिला कलेक्ट्रेट तक मार्च किया। इस दौरान जिला कलेक्ट्री के सामने आम सभा आयोजित की गई जिसकी अध्यक्षता लक्ष्मण हड़ात ने की। आम सभा को एकामंच के राज्य सचिव विमल भगोरा ने संबोधित करते हुए, देश की मोदी सरकार पर पूरी तरह से आदिवासी विरोधी नीति लागू कर आदिवासियों को बेदखली के कगार पर पहुंचाने का आरोप लगाया।
इस अवसर पर मांग पत्र जारी किया गया:

  1. वनाधिकार कानून 2006 को ईमानदारी से लागू करो। वन भूमि पर काबिज सभी आदिवासियों को पट्टे दो।
  2. लघु वनोपज पर आदिवासियों को अधिकार दो।
  3. 5 वीं अनुसूची को ईमानदारी से लागू करो। पेशा कानून की पालना की जाये।
  4. आदिवासी क्षेत्रों की खनिज सम्पदा पर आदिवासियों अधिकार दो।
  5. केंद्र व राज्य सरकारें आदिवासियों के विकास पर जनसंख्या के अनुपात में बजट का आवंटन करे। बजट लैप्स न हो और बजट अन्यत्र खर्च न हो। ऐसा कानूनी प्रावधान किया जाये।
    6 . उपयोजना सत्र की सभी नौकरियों में जनसंख्या के अनुपात में प्रतिनिधित्व दो।
  6. डूंगरपुर मेडिकल कॉलेज का संचालन सोसायटी के बजाय राज्य सरकार स्वयं करे। सभी सीटों पर भर्ती शुल्क आधरित न हो मेरिट आधारित हो।
  7. नौकरियों में राज्य सेवा नियमों के तहत भर्ती की जाये ठेका प्रथा बन्द करो।
  8. पूर्व मेट्रिक, उत्तर मेट्रिक छात्रवृत्ति का भुगतान करो और महंगाई सूचकांक के साथ जोड़ कर दी जाये।
  9. टी एस पी क्षेत्र के सभी ब्लॉक मुख्यालयों पर राजकीय महाविद्यालय खोले जायें।
  10. आश्रम छात्रावास खेल छात्रावास व आवासीय विद्यालयों की सुविधाएं बढ़ाई जाये। टी एस पी क्षेत्र के अस्पतालों की व्यवस्था सही की जाये।
  11. मनरेगा के कार्यदिवस 200 दिन किये जायें। न्यूनतम मजदूरी 300 रुपये प्रति दिन की जावे।
  12. आदिवासियों को सभी प्रकार के कर्जे (सरकारी, सहकारी, साहूकारी) से मुक्त किया जाये।
  13. किसी भी परियोजना के लिए आदिवासियों की जमीनों का अधिग्रहण नहीं किया जावे।
    15 . नई शिक्षा नीति वापस लो।
  14. सभी आशा आंगनबाड़ी कार्यकर्ता मीड डे मील कर्मियों को 26000 रु. मासिक वेतन दिया जाए।
    सभा को किसान नेता अमृतलाल कलाल, बापुराम बरंडा, फाल्गुन भराड़ा जय किशन कटारा, टाड़ी ओबरी सरपंच देवीलाल कोटेड, भीमचंद कोटेड, कांतिलाल खराड़ी कालूराम डिंडोर भगवती लाल डामोर शंकर अहारी गंगाराम अमिलिया लक्सीराम कटारा शिल्पा रोतलक्ष्मी अहारी,जशोदा रोत कर्मचारी महासंघ नेता हेमन्त खराड़ी ने सम्बोधित किया। संचालन जनसंघर्षों की संयुक्त संघर्ष समिति के संयोजक भूपेश कटारा ने किया।

अभिषेक लट्टा - प्रभारी संपादक मो 9351821776

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